दिल्ली के पूर्व मंत्री सत्येंद्र जैन की मुश्किलें और बढ़ गई हैं। दिल्ली के एलजी ने तिहाड़ जेल में बंद ठग सुकेश चंद्रशेखर से उगाही के मामले में सत्येंद्र जैन के खिलाफ CBI जांच शुरू करने की मंजूरी दे दी
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सपा प्रमुख अखिलेश यादव भी मिला सीबीआई का समन, गवाही के लिए पेश होने का निर्देश, यह है मामला
समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव भी सीबीआई के रडार पर आ गए हैं। अवैध खनन के मामले में सीबीआई ने अखिलेश यादव को बतौर गवाह पूछताछ के लिए समन जारी किया है। सपा ने इसे राजनीति से प्रेरित बताया है।
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Bihar News: केंद्रीय मंत्री ने ‘खेला’ को लेकर विपक्ष पर लगाए खरीद-फरोख्त के आरोप; CBI जांच की मांग की
केंद्रीय मंत्री और भाजपा नेता गिरिराज सिंह
– फोटो : अमर उजाला
विस्तार
बेगूसराय में केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह ने एक बार फिर विपक्ष पर आरोप लगाते हुए सीबीआई जांच की मांग की है। दरअसल, गिरिराज सिंह ने नई सरकार के गठन से पहले विपक्ष द्वारा खरीद-फरोख्त का आरोप लगाया है। उन्होंने कहा है कि इस पर व्यापक पैमाने पर विधायकों को प्रलोभन देने का काम किया गया था। अब इसकी सीबीआई से जांच होनी चाहिए और जो भी दोषी हों, उन पर कड़ी कार्रवाई होनी चाहिए।
‘हाल में तेजस्वी मुख्यमंत्री बनने वाले हैं’
भाजपा नेता ने आरोप लगाते हुए कहा कि बार-बार जो तेजस्वी यादव द्वारा खेला होने का संकेत किया जा रहा था, वह खरीद-फरोख्त से ही संबंधित था। जहां तक खेला होने की बात है तो एनडीए ने सदन में बहुमत सिद्ध कर साबित कर दिया कि आखिर खेला करने वालों की मंशा क्या थी। राजद नेता तेजस्वी यादव ने कहा था कि मोदी इसकी क्या गारंटी लेंगे कि नीतीश कुमार फिर पलटी नहीं मारेंगे। इस पर केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह ने कहा कि मोदी यह गारंटी अवश्य दे सकते हैं कि हाल में तेजस्वी यादव मुख्यमंत्री बनने वाले नहीं हैं।
‘सूर्य नमस्कार एक योग है’
वहीं, उन्होंने सूर्य नमस्कार को लेकर एक खास समुदाय के द्वारा आपत्ति जताने पर कहा कि आज कुछ कट्टरपंथी लोग सूर्य नमस्कार के बहाने बच्चों को स्कूल जाने की मनाही कर रहे हैं। वे आरोप लगा रहे हैं कि उनके मजहब में यह बात नहीं लिखी है। जबकि सूर्य नमस्कार एक योग है और आज विश्व के अधिकांश देशों ने योग को प्राथमिकता दी है। अतः ऐसे लोग भ्रम फैलाने का काम न करें।
‘वे महिला के नाम पर कलंक हैं’
वहीं, उन्होंने बंगाल की ममता बनर्जी नीत तृणमूल सरकार पर आरोप लगाते हुए कहा कि आज बंगाल में महिलाओं पर अत्याचार हो रहा है, उनका यौन उत्पीड़न किया जा रहा है। जबकि बंगाल की मुख्यमंत्री खुद एक महिला होते हुए महिलाओं का सम्मान नहीं कर रहीं। वे महिला के नाम पर कलंक हैं। ममता सरकार के द्वारा एक खास समुदाय के लोगों को सिर्फ बढ़ावा दिया जा रहा है और वोट बैंक की राजनीति की जा रही है।
‘कट्टरपंथी कुकृत्य कर रहे हैं’
केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह ने महाराष्ट्र में आस्था स्पेशल ट्रेन पर पथराव को लेकर भी चिंता व्यक्त की। उन्होंने कहा कि आज कई ऐसे मुसलमान हैं जो रामलला के दर्शन के लिए जा रहे हैं और राम कथा में भी भाग ले रहे हैं। लेकिन कुछ कट्टरपंथियों द्वारा ऐसे कुकृत्य किए जा रहे हैं जो आस्था पर प्रहार करने का काम कर रहे हैं। इससे कुछ होने वाला नहीं है। लोगों की आस्था प्रभु श्री राम से जुड़ी है और जुड़ी रहेगी।
बढ़ सकती हैं TMC MP महुआ मोइत्रा की मुश्किलें? लोकपाल के निर्देश पर CBI ने जांच शुरू
तृणमूल कांग्रेस की सांसद महुआ मोइत्रा की मुश्किलें बढ़ सकती हैं। केंद्रीय जांच ब्यूरो (CBI) ने शनिवार को कहा कि एजेंसी ने तृणमूल कांग्रेस सांसद महुआ मोइत्रा के खिलाफ कैश-फॉर-क्वेरी आरोपों की जांच शुरू कर दी है। सीबीआई सूत्रों ने कहा है कि“हमने लोकपाल के आदेश पर जांच शुरू कर दी है। हमने अभी तक महुआ मोइत्रा के खिलाफ प्रारंभिक जांच या एफआईआर दर्ज नहीं की है। ”
बता दें की कैश ऑन क्वेरी मामले में भाजपा सांसद निशिकांत दुबे की शिकायत के आधार पर मोइता के खिलाफ सीबीआई जांच शुरू की गई है, जिन्होंने टीएमसी नेता पर “संसद में सवाल पूछने” के लिए एक व्यवसायी से रिश्वत लेने का आरोप लगाया था। दुबे ने पहले कहा था कि, लोकपाल ने 8 नवंबर को, “राष्ट्रीय सुरक्षा की कीमत पर भ्रष्टाचार में लिप्त होने के लिए आरोपी महुआ मोइत्रा के खिलाफ सीबीआई जांच का आदेश दिया गया है।”
दुबे ने अपनी शिकायत में मोइत्रा पर उपहार के बदले व्यवसायी दर्शन हीरानंदानी के इशारे पर अडानी समूह और प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी को निशाना बनाने के लिए लोकसभा में सवाल पूछने का आरोप लगाया था। दुबे ने कहा कि आरोप सुप्रीम कोर्ट के एक वकील के पत्र पर आधारित थे जो उन्हें मिला था, जिसमें मोइत्रा और व्यवसायी के बीच “रिश्वत के लेन-देन के कई सबूत मौजूद हैं।”
इस महीने की शुरुआत में, लोकसभा आचार समिति, जिसने टीएमसी नेता के खिलाफ आरोपों की जांच की थी, जिसने मोइत्रा को निचले सदन से अयोग्य ठहराने की सिफारिश करते हुए अपनी रिपोर्ट अपना ली थी। इसके बाद रिपोर्ट लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला को सौंप दी गई है, जिसके बाद यह भी आरोप लगाया गया कि महुआ मोइत्रा की संसद लॉगिन आईडी को उनकी ओर से प्रश्न पोस्ट करने के लिए हीरानंदानी के साथ भी साझा किया गया था। हालांकि, मोइत्रा ने कहा कि उन्होंने प्रश्न टाइप करने के लिए हीरानंदानी कार्यालय में किसी को आईडी दी थी, क्योंकि वह अपने निर्वाचन क्षेत्र में “हमेशा व्यस्त” रहती थीं।
सूत्रों के मुताबिक, मोइत्रा की पार्लियामेंट आईडी को दुबई, न्यू जर्सी, संयुक्त राज्य अमेरिका और बेंगलुरु से एक्सेस किया गया था। हालांकि, महुआ मोइत्रा ने आरोपों को खारिज कर दिया है और इसे “राजनीतिक प्रतिशोध” बताया है। उन्होंने अपने निष्कासन का सुझाव देने वाली एथिक्स पैनल की रिपोर्ट को “सम्मान का प्रतीक” बताया था और कहा था कि “यह शुरू से ही एक फिक्स्ड मैच था।”