पुणे: पुणे पुलिस ने मुंबई-बेंगलुरु राजमार्ग ( Mumbai-Bengaluru Highway) को अवरुद्ध करने और टायर जलाने के आरोप में मराठा आरक्षण (Maratha Reservation) का समर्थन करने वाले संगठनों के लगभग 500 कार्यकर्ताओं के खिलाफ मामला दर्ज किया है। अधिकारियों ने बुधवार को यह जानकारी दी।
500 कार्यकर्ताओं के खिलाफ FIR
पुलिस ने कहा कि मराठों को आरक्षण देने की मांग को लेकर प्रदर्शनकारियों ने मंगलवार दोपहर सवा 12 बजे से पौने तीन बजे के बीच पुणे शहर में नवले पुल के पास राजमार्ग को अवरुद्ध कर दिया था और टायर जलाए थे। पुलिस ने कहा कि उन्होंने मराठा क्रांति मोर्चा और सकल मराठा मोर्चा के 400 से 500 कार्यकर्ताओं के खिलाफ दूसरों के जीवन को खतरे में डालने और यात्रियों में भय फैलाने सहित विभिन्न आरोपों में मामला दर्ज किया है। पुलिस ने कहा कि कार्यकर्ताओं पर भारतीय दंड संहिता, महाराष्ट्र पुलिस अधिनियम और आपराधिक विधि (संशोधित) अधिनियम की संबंधित धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया है।
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मराठा समुदाय को आरक्षण दिया जाए
इससे पहले महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने कहा कि बुधवार को हुई सर्वदलीय बैठक में फैसला किया गया कि राज्य में अन्य समुदायों को दिये जा रहे वर्तमान आरक्षण में छेड़छड़ किए बिना मराठा समुदाय को आरक्षण दिया जाना चाहिए। यहां संवाददाताओं से बातचीत करते हुए शिंदे ने कार्यकर्ता मनोज जरांगे से अपील की कि वह अपना अनशन समाप्त कर दें और सरकार को कुछ समय दें। जरांगे 25 अक्टूबर से अनशन पर हैं।
अनशन समाप्त कर दें मनोज जरांगे
शिंदे ने कहा, ‘‘सर्वदलीय बैठक में सर्वसम्मति से फैसला किया गया कि मौजूदा समय में जिन समुदायों को आरक्षण मिल रहा है, उनमें छेड़छाड़ किए बिना मराठा समुदाय को आरक्षण देने की कोशिश की जानी चाहिए। मैं मनोज जरांगे से अपील और अनुरोध करता हूं कि वह अपना अनशन समाप्त कर दें और सरकार से सहयोग करें। राज्य को उच्चतम न्यायालय में दाखिल करने के लिए उपचारात्मक याचिका तैयार करने में कुछ समय की जरूरत है।” (भाषा इनपुट के साथ)